मोदी सरकार का झटका, Reliance का शेयर हुआ धड़ाम
नई दिल्ली, जुलाई 1। सरकार ने 1 जुलाई से अपनी आमदनी बढ़ाने का सिलसिला शुरू कर दिया है। इसी के चलते जहां गोल्ड पर टैक्स बढ़ा दिया है, वहीं पेट्रोल पर 6 रुपये प्रति लीटर तो डीजल पर 13 रुपये प्रति लीटर का टैक्स बढ़ाया है। वहीं गोल्ड पर यह टैक्स 5 फीसदी बढ़ाया गया है। जानकारों का मानना है कि टूटते रुपये को बचाने की भी यह कवायद है। आइये जानते हैं इस बारे में सब कुछ।
पहले जानिए पेट्रोल और डीजल पर टैक्स के बारे में
रूस से कच्चा तेल सस्ते में मिल रहा है। इस कच्चे तेल से पेट्रोल और डीजल को बना कर निजी पेट्रोलियम कंपनियां जमकर निर्यात कर रही हैं। इससे इन कंपनियों को तगड़ा मुनाफा हो रहा है। इसे देखते हुए सरकार ने आज से पेट्रोल और डीजल के निर्यात पर टैक्स बढ़ा दिया है। आज से निर्यात किए जाने वाले प्रति लीटर पेट्रोल पर 6 रुपये प्रति लीटर टैक्स और देना होगा। वहीं यह टैक्स डीजल पर 13 रुपये प्रति लीटर होगा।
फैसला आते ही रिलायंस का शेयर धड़ाम
आज जैसे ही शेयर बाजार में यह खबर आई कि सरकार पेट्रोल और डीजल के निर्यात पर अतिरिक्त टैक्स लगा रही है, रिलायंस का शेयर औंधे मुंह गिर गया। आज रिलायंस का शेयर 186.95 रुपये यानी 7.20 फीसदी की गिरावट के साथ 2408.70 रुपये के स्तर पर बंद हुआ। वहीं आज इस शेयर ने एनएसई पर 2,365.00 रुपये का न्यूनतम का स्तर बनाया और अधिकतम का स्तर 2,592.00 रुपये का बनाया।
Petrol Pump : जानिए Petrol और Diesel बेच कर कितना होती है कमाई
घरेलू क्रूड पर भी टैक्स बढ़ाया
देश में जो भी कच्चा तेल निकाला जाता है, सरकार ने आज से उस पर भी टैक्स बढ़ा दिया है। सरकार ने 23230 रुपये प्रति टन का अतिरिक्त टैक्स लागू कर दिया है।
79 रुपये के स्तर के ऊपर निकला
आज डालर के खिलाफ रुपया 79 रुपये का स्तर तोड़ कर ऊपर बंद हुआ है। पिछले कुछ दिनों से रुपया लगातार टूट रहा है। जानकारों का मानना आज जो टैक्स बढ़ाए गए हैं, उनका मकसद आमदनी बढ़ाने से ज्यादा रुपये को डालर खिलाफ टूटने से बचाना है। गोल्ड पर टैक्स बढ़ाने से इसका आयात कम हो सकता है। वहीं पेट्रोल और डीजल का निर्यात महंगा होने से कंपनियां ज्यादा क्रूड खरीदने से बचेंगी। जिससे उनको ज्यादा निर्यात न करना पड़े। ऐसे में डालर की डिमांड कम हो सकती है। अगर ऐसा हुआ तो डालर के खिलाफ रुपये का टूटना कम हो सकता है।