Air India : इलकर आयसी ने ठुकराया Tata Sons का प्रस्ताव
इलकर आयसी ने टाटा संस के एअर इंडिया के नए मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) बनने के प्रस्ताव को ठुकरा दिया है।
नई दिल्ली, मार्च 1। एक बार फिर से एअर इंडिया चर्चें में है। एयर इंडिया के एमडी और सीईओ से जुड़ी बड़ी खबर सामने आई है। इलकर आयसी ने टाटा संस के एअर इंडिया के नए मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) बनने के प्रस्ताव को ठुकरा दिया है। टाटा संस ने बीते 14 फरवरी को एअर इंडिया के सीईओ और प्रबंध निदेशक (एमडी) के रूप में इल्कर आई को नियुक्त किया था और उन्हें 1 अप्रैल, 2022 को या उससे पहले अपनी जिम्मेदारियों को संभालना था।
टाटा संस ने हाल ही में एअर इंडिया को खरीदा
रिपोर्ट के मुताबिक, इलकर आयसी ने कहा कि उनकी नियुक्ति को स्थानीय मीडिया में अगर रंग दिया जा रहा था। वहीं उन्होंने कहा, "मैं इस निष्कर्ष पर पहुंचा हूं कि इस तरह के धारणाओं के बीच इस पद को स्वीकार करना सही या सम्मानजनक निर्णय नहीं होगा।" राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से जुड़े संगठन स्वेदशी जागरण मंच ने आयसी के नियुक्ति का विरोध किया था। टाटा संस ने हाल ही में एअर इंडिया को भारत सरकार से खरीदा है। BharatPe के एमडी अशनीर ग्रोवर ने दिया इस्तीफा
आयसी को 1 अप्रैल से एयर इंडिया का प्रभार संभालना था
टाटा ने इलकर आयसी को एअर इंडिया के नए सीईओ के रूप में चुना था। इलकर आयसी तुर्की के रहने वाले हैं और वह एविएशन एक्सपर्ट होने के साथ-साथ तुर्की के राष्ट्रपति रेचेप तैय्यप एर्दोगान के भी करीबी माने जाते हैं। भारतीय कंपनियों में अहम पदों पर किसी विदेशी नागरिक के नियुक्त पर भारत सरकार से सिक्योरिटी क्लीयरेंस लेने पड़ती है। तुर्की के राष्ट्रपति कई मौकों पर पाकिस्तान का साथ दे चुके हैं। ऐसे में कई मीडिया रिपोर्टों में यह कहा जा रहा था कि टाटा को इलकर आयसी के लिए सिक्योरिटी क्लीयरेंस थोड़ा जटिल हो सकता है। इलकर आयसी को 1 अप्रैल को एयर इंडिया का प्रभार संभालना था। 51 वर्षीय आयसी, तुर्की की बिल्केंट यूनिवर्सिटी के पॉलिटिकल साइंस और पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन डिपार्टमेंट के 1994 बैच के पूर्व छात्र हैं। 1995 में उन्होंने इंग्लैंड की लीड्स यूनिवर्सिटी में पॉलिटिक साइंस पर एक रिसर्च प्रोजेक्ट किया था और उसके 1997 में उन्होंने इस्तांबुल की मरमारा यूनिवर्सिटी से इंटरनेशनल रिलेशंस मास्टर प्रोग्राम पूरा किया।