गोल्ड : 2020 में हो जाएगा 45 हजारी, ये हैं कारण
मुंबई। सोने का रेट अगले वर्ष यानी 2020 में बढ़कर 45,000 रुपये प्रति 10 ग्राम हो सकता है। ऐसी गोल्ड मार्केट के जानकारों की है। इसका कारण भू-राजनीतिक परिस्थितियों, आर्थिक चिंताओं और रुपये में अस्थिरता है। ऐसा माना जाता है कि जब भी विश्व में संकट होता है, तो सोना महंगा होना शुरू हो जाता है। यही कारण है कि जानकार 2020 में 10 ग्राम सोने की कीमत 45 हजार रुपये तक पहुंचने की बात कर रहे हैं। वहीं 2019 में सोने की सर्वाधिक कीमत 39,900 रुपये प्रति 10 ग्राम रही है। वहीं दूसरी तरफ वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल के आंकड़ों के अनुसार दुनिया के 14 देशों के केंद्रीय बैंकों ने अपने गोल्ड भंडार में सोने की मात्रा 1 टन या इससे अधिक बढ़ाई है। इन 14 देशों में भारत भी है।
ये हैं प्रमुख कारण
कोमट्रेन्ज रिसर्च के अनुसार 2020 में भू-राजनैतिक घटनाओं की वजह से निवेशकों की चिंताएं ज्यादा बढ़ जाएंगी। इसके अलावा कई मौजूदा दिक्कतें दूर होने की वजाह बढ़ सकती हैं। दुनियाभर में ब्याज दरों के नीचे रहने से शेयरों बाजार नई ऊंचाई पर होंगे, इसलिए हमारा मानना है कि लोग सोने में निवेश करेंगे। वहीं अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव का परिणाम भी इस पर असर डालेगा। कोमट्रेन्ज रिसर्च के अनुसार ऐसे में सोने की कीमत 44,500 रुपये से लेकर 45,000 रुपये तक जा सकती हैं।
वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल का अनुमान
वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल के मैनेजिंग डायरेक्टर (इंडिया), सोमासुंदरम पीआर के अनुसार रुपये सहित लगभग सभी बाजारों में स्थानीय मुद्रा की कीमत निचले स्तर पर है। इससे उपभोक्ताओं की मांग में कमी आ रही है। तीसरी तिमाही में भारत में भी मांग काफी कम रही है। त्योहारों और शादियों की वजह से चौथी तिमाही में इसमें तेजी के बावजूद पूरे साल के लिए सोने की कुल मांग 700 टन से लेकर 750 टन रहने की ही उम्मीद है।
कई देश खरीद रहे गोल्ड
वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल के मैनेजिंग डायरेक्टर (इंडिया), सोमासुंदरम पीआर के अनुसार अमेरिका और यूरोप में ईटीएफ मांग और दुनियाभर के केंद्रीय बैंकों की तरफ से गोल्ड की खरीदारी मजबूत बनी रहने की उम्मीद है। उनके मुताबिक, आरबीआई 2019 में सोने के मुख्य खरीदारों में रहा और अपने रिजर्व में 60 टन गोल्ड की वृद्धि की। अब तक चीन और रूस सोने के सबसे बड़े खरीदार रहे हैं। भारत के अलावा इस दौड़ में तुर्की, पोलेंड, कजाखिस्तान भी शामिल हैं।
2019 की शुरुआत में ये थी सोने की कीमत
वर्ष 2019 की शुरुआत तक सोना उपभोक्ताओं के लिए अधिक आकर्षक था, जब इसकी कीमत 31,500 से 32 हजार रुपये प्रति 10 ग्राम के बीच थी। हालांकि, बाद में जून में कीमत बढ़ने के साथ मांग में कमी घटने लगी। रुपये में कमजोरी और सरकार की तरफ से कस्टम ड्यूटी बढ़ाने के बाद घरेलू बाजार में सोना महंगा हो गया। बाद में यह साल के अंत तक करीब 40,000 रुपये तक हो गया।
कमजोर रुपये के चलते बढ़ेगा सोने का रेट
इंडियन बुलियन एंड ज्वैलरी एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष पृथ्वीराज कोठारी के अनुसार सोने की कीमत में अभी तेजी जारी रहेगी। उन्होंने कहा, 'वैश्विक आर्थिक मंदी, भारत में लिक्विडिटी की कमी और डॉलर के मुकाबले रुपया और कमजोर होगर 72 के पार जाने के बाद सोने के रेट में और तेजी आ सकती है। उनके अनुसार 2020 में सोना 38,000 रुपये से लेकर 42,000 रुपये के बीच रह सकता है।
गोल्ड इंश्योरेंस : इसके बाद नहीं रहती है जेवर लुटने की चिंता