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चीन में रुपए धो धो कर हो रहे इस्तेमाल, जानिए क्यों

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नयी दिल्ली। चीन में फैल रहे कोरोनावायरस का असर सिर्फ इंसानों तक सीमित नहीं है। बल्कि यह कारोबार और अब करेंसी को भी प्रभावित कर रहा है। इस का डर इतना है कि चीन में लोग करेंसी नोट को भी धो-धो कर इस्तेमाल कर रहे हैं। चीन कोरोनोवायरस को रोकने का हर संभव प्रयास कर रहा है। इनमें एक नया कदम उठाया गया है करेंसी को लेकर, जिसके तहत इस्तेमाल किए गए बैंकनोटों को वायरस रहित करना और अलग करना शामिल है। चीन में नया कोरोनोवायरस 1,500 से अधिक जानें ले चुका है और वहां हजारों लोग इससे संक्रमित हो चुके हैं। बैंक नोटों की जांच कर रहा है, संक्रमित नोट को अलग करना और उससे वायरस को हटाना इस प्रोसेस का हिस्सा है, ताकि नोटों के जरिये वायरस न फैल सके।

क्या कर रहे हैं बैंक

क्या कर रहे हैं बैंक

चीन के केंद्रीय बैंक ने कहा है कि बैंकों ने युआन (चीनी मु्द्रा) नोटों को कीटाणुरहित करने के लिए अल्ट्रावायोलेट लाइट या उच्च तापमान का उपयोग करते हैं, फिर सात से 14 दिनों के लिए नकदी को सील और अलग संग्रहीत किया। यह अवधि एक विशेष क्षेत्र में प्रकोप की गंभीरता पर निर्भर करती है। इसके बाद ही इन्हें दोबारा सर्कुलेशन में लाया जाता है। वायरस, जो चीन में 66,000 से अधिक लोगों को संक्रमित कर चुका है और दो दर्जन से अधिक अन्य देशों में फैल गया है, के चलते सार्वजनिक स्थानों को संक्रमण से बचाने और लोगों के बीच संपर्क कम करने की हड़बड़ी मच गई है।

लोगों को नये नोट देने का निर्देश

लोगों को नये नोट देने का निर्देश

चीन के केंद्रीय बैंक के डिप्टी गवर्नर फैन युफेई ने शनिवार को कहा कि बैंकों से अपील की जाती है कि जब भी संभव हो, ग्राहकों को नए बैंकनोट उपलब्ध कराए जाएं। केंद्रीय बैंक ने हुबेई प्रांत को चार अरब युआन के नए नोट "आपातकालीन जारी" किये हैं। ये प्रांत ही इस वायरस का केंद्र है। युफेई के मुताबिक उपायों का उद्देश्य "नकदी का उपयोग करते समय जनता की सुरक्षा और स्वास्थ्य को सुरक्षित करना" है। लेकिन यह साफ नहीं है कि हाल के वर्षों में नकदी पर मोबाइल भुगतान को प्राथमिकता देने वाले चीनी लोगों की बढ़ती संख्या के साथ केंद्रीय बैंक के कीटाणुशोधन कार्य का कितना प्रभाव पड़ेगा।

चीन में कारोबार पर असर

चीन में कारोबार पर असर

चीन में कोरोनावायरस का कारोबार पर भी बहुत असर पड़ रहा है। सिर्फ मोबाइल के कलपुर्जों की फैक्ट्री की बात करें तो केवल कुछ फैक्टि्रियों को ही खोलने की अनुमति मिली हुई है। आईफ़ोन के मुख्य निर्माता ताईवान की फॉक्सकॉन को उम्मीद है कि चीन में इसका आधा उत्पादन फरवरी के अंत शुरू हो जाएगा, जबकि मार्च में यह 80 फीसदी तक पहुँच जायेगा। मगर फिलहाल हालात हैं ऐसे हैं कि चीन से मोबाइल कलपुर्जे भारत नहीं आ पा रहे हैं, जिससे यहां भी मोबाइल उत्पादन प्रभावित हो रहा है।

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English summary

yuan are being used in China after washing know why

The impact of coronavirus spreading in China is not limited to humans alone. Rather it is affecting the business and now the currency as well.
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