Tax Saving : मेडिकल इंश्योरेंस से कितना बचा सकते हैं टैक्स, जानिए यहां
Tax Saving : फाइनेंशियल ईयर 2022-23 समाप्त होने वाला है और कंपनियां जो कर्मचारियों ने टैक्स को बचाने के लिए निवेश किया है। कम्पनी उनसे किए गए निवेश की जानकारियों को डाक्यूमेंट्स के साथ मांग रही है। अगर डाक्यूमेंट्स और जानकारियों को तय सीमा पर जमा नहीं करते है, तो फिर आने वाले तीन महीनों तक आपकी सैलरी से काफी भारी टैक्स की कटौती की जा सकती है। ऐसे में हर कोई व्यक्ति है उसके मन में यही चल रहा है। कि किस तरह टैक्स की देनदारी को किया जाए। आइए जानते हैं इसके बारे में।
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मिलता है निजात मेडिकल खर्च के बोझ से
जो आयकर अधिनियम 80सी है। इसके तहत 1.50 लाख रूपये तक के इन्वेस्ट पर टैक्स से छुट का लाभ मिलता है। लेकिन आप मेडिकल इंश्योरेंस को ले सकते है और टैक्स की बचत कर सकते है। लोगों का वैसे कोरोना के वक्त से मेडिकल खर्च में बढ़ोतरी हुई है। ऐसे में जो मेडिकल इंश्योरेंस है। जो अचानक मेडिकल खर्च के बोझ का सामना करने में आपकी सहायता करता है साथ ही आपको टैक्स के बोझ को कम करने में भी आपकी मदद करता है।
बचाएं पैसा स्वास्थ बीमा में
अगर आप टैक्स के बोझ को कम करना चाहते है, तो फिर आप आयकर अधिनियम के सेक्शन 80 डी तहत आप अपने परिवार के लिए स्वास्थ बीमा ले सकते हैं। अगर कोई टैक्स पेयर्स है। वो अपने खुद के लिए या फिर अपने पत्नी और बच्चों के हेल्थ इंश्योरेंस के प्रीमियम के मद 25 हजार रूपये तक के भुगतान है। इसको आप डिडक्शन के तौर पर क्लेम कर सकता है। इसके अलावा अगर कोई टैक्सपेयर्स है जिसकी आयु 60 साल से कम है, तो उनके हेल्थ इंश्योरेंस के प्रीमियम के मद में 25 हजार के भुगतान को डिडक्शन के तौर पर क्लेम करने की सुविधा मिलती है साथ ही अगर माता-पिता की आयु 60 साल से ज्यादा है, तो फिर वार्षिक 50 हजार रूपये तक हेल्थ इंश्योरेंस के प्रीमियम के भुगतान को डिडक्शन के तौर पर क्लेम किया जा सकता है।
टैक्स बचा सकते है हेल्थ इंश्योरेंस के प्रीमियम भुगतान पर
मान लिजिए अगर कोई टैक्स पेयर्स है या फिर उसके माता या पिता की आयु 60 साल से अधिक है। अपने परिवार के स्वास्थ बीमा के प्रीमियम के मद और माता-पिता के भी प्रीमियम के मद में दोनों में 50 हजार रूपये प्रीमियम के भुगतान को डिडक्शन के तौर पर क्लेम कर सकता है।