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महंगाई का झटका : सरसों का तेल बिगाड़ेगा आपका बजट, 5 दिन में इतने बढ़े दाम

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नई दिल्ली, अप्रैल 24। अगर आप खान पकाने या किसी और चीज के लिए सरसों के तेल का इस्तेमाल करते हैं तो आपके लिए बुरी खबर है। दरअसल सरसों के तेल की कीमतों में हाल के दिनों में तेज बढ़ोतरी देखी गयी है। आम जनता के लिए यह बुरी खबर है, जो कोरोना के बीच बाकी चीजों पर बढ़ रही महंगाई से पहले ही परेशान है। बता दें कि पिछले 5 ही दिनों में सरसों के तेल की कीमतों में अच्छी खासी बढ़ोतरी देखी गयी है। यदि आपके घर में सरसों का तेल इस्तेमाल होता है तो आपकी जेब पर बोझ बढ़ जाएगा। आइए जानते हैं कि सरसों के तेल की कीमतों में कितनी बढ़ोतरी हुई है।

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कितने बढ़े दाम

कितने बढ़े दाम

पिछले सिर्फ 5 ही दिनों में सरसों के तेल की कीमतों में 40 रु तक की बढ़ोतरी हुई है। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि जो शुद्ध सरसों का तेल मशीनों पर मिलता है, उसके दाम बीते 5 दिनों में 40 रु प्रति लीटर की बढ़ोतरी के साथ 175 रु प्रति लीटर हो गए हैं। सरकारी आंकड़ों पर नजर डालें तो केंद्रीय उपभोक्ता मंत्रालय की वेबसाइट पर उपलब्ध जानकारी के अनुसार प्रति लीटर सरसों के पैक तेल का दाम पिछले एक महीने से कम समय में 45 रु तक बढ़ा है।

जानिए अलग-अलग जगहों के रेट

जानिए अलग-अलग जगहों के रेट

साहिबगंज (झारखंड) में सरसों के तेल का रेट 1 अप्रैल को 164 रु था, जो 22 अप्रैल तक 45 रु बढ़ कर 209 रु हो गया। इसी तरह जगदलपुर (छत्तीसगढ़) में 103 रु से बढ़ कर 145 रु, मुजफ्फपुर (बिहार) में 145 रु से बढ़ कर 163 रु हो गया। बड़े शहरों की बात करें तो दिल्ली में ये 149 रु से बढ़ कर 160 रु, मुंबई में 154 रु से बढ़ कर 169 रु, पटना में 145 रु से बढ़ कर 155 रु और नाशिक में 179 रु से बढ़ कर 194 रु हो गयी है।

इसलिए बढ़े दाम

इसलिए बढ़े दाम

सरसों के तेल के दाम इतने कम समय में इतने तेजी से बढ़ने का एक अहम कारण है। सरसों की पेराई के बिजनेस से जुड़े एक बिजनेसमैन कहते हैं कि एक हफ्ते पहले सरसों दाने का दाम प्रति क्विंटल 6500 रु था वो अब प्रति क्विंटल 8000 रु से अधिक हो गया है। खुदरा में सरसों का तेल 120 रु प्रति लीटर था, जो इस समय 175 रु तक पर बिक रहा है। जनता के लिए यह बुरी खबर है। इससे पहले पिछले महीने खुदरा और थोक दोनों महंगाई दरों में बढ़ोतरी दर्ज की गयी थी।

8 सालों के उच्चतम स्तर पर थोक महंगाई

8 सालों के उच्चतम स्तर पर थोक महंगाई

मार्च में थोक महंगाई बढ़ कर 8 सालों के उच्च स्तर पर पहुंच गयी। इस बात का खुलासा वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय द्वारा जारी किए गए आंकड़ों में हुआ। मार्च में थोक महंगाई 7.39 फीसदी रही। पिछले महीने खुदरा महंगाई भी बढ़ी थी। इससे पहले फरवरी में थोक महंगाई 4.17 फीसदी रही थी, जबकि पिछले साल मार्च में यह सिर्फ 0.42 फीसदी थी।

कहां पहुंची खुदरा महंगाई

कहां पहुंची खुदरा महंगाई

खुदरा मुद्रास्फीति मार्च के महीने में बढ़ कर 5.53 फीसदी हो गई, जो फरवरी में 5.03 फीसदी थी। खाद्य महंगाई में उछाल से खुदरा महंगाई बढ़ी है। सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय की तरफ से जारी किए गए आंकड़ों के अनुसार फरवरी में 3.87 फीसदी के मुकाबले खाद्य महंगाई मार्च में 4.94 फीसदी हो गयी।

English summary

Inflation shock mustard oil will spoil your budget so much price increases in 5 days

Mustard oil prices have gone up by Rs 40 in just 5 days. For your information, let us know that the price of pure mustard oil available on machines has increased by Rs 40 per liter in the last 5 days to Rs 175 per liter.
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