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Gold : नहीं मिल रहे खरीदार, जानिए क्यों गिर रही डिमांड

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नयी दिल्ली। दुनिया भर में गोल्ड की मांग घटी है। वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल (डब्लूजीसी) की रिपोर्ट बताती है ग्लोबल लेवल पर सोने की मांग 2020 की जुलाई-सितंबर तिमाही में 19 फीसदी घट कर 892 टन रह गई, जबकि इसी तिमाही में सोने की सप्लाई 1223.6 टन रही। गौरतलब है कि ये 2009 के बाद सोने की मांग में किसी भी तिमाही में आई सबसे बड़ी गिरावट है। साथ ही ये 2009 की जुलाई-सितंबर तिमाही के बाद ये सबसे कम मांग भी है। जहां तक सप्लाई का सवाल है तो वो भी जुलाई-सितंबर तिमाही में 3 फीसदी घटी है। इस तिमाही में भारत में सोने की मांग 30 फीसदी लुढ़क गई है। दुनिया भर में सोने की इतनी बड़ी गिरावट के पीछे मुख्य कारण कोरोनावायरस ही है, जिसका असर ग्राहकों पर अभी बाकी है।

 

2020 में सितंबर तक की मांग

2020 में सितंबर तक की मांग

2020 में सितंबर तक सोने की कुल वैश्किव मांग 2972.1 टन रही, जो 2019 की इसी अवधि के मुकाबले 10 फीसदी कम है। जबकि सोने की कुल मांग में गिरावट आई जुलाई-सितंबर में निवेश की मांग में काफी अच्छी वृद्धि देखी गई। साल दर साल आधार पर सोने की निवेश मांग में 21 फीसदी की बढ़त देखी गई। वैश्विक स्तर पर निवेशकों ने 222.1 टन सोने की छड़ और सिक्के खरीदे। गोल्ड ईटीएफ के जरिए 272.5 टन सोना खरीदा गया। अभी तक साल में गोल्ड ईटीएफ होल्डिंग 1,003.3 टन तक पहुंच गई है।

भारत में घटी मांग
 

भारत में घटी मांग

भारतीयों का सोने के प्रति प्रेम भी मौजूदा वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में फीका पड़ गया। डब्लूजीसी की रिपोर्ट के अनुसार देश में सोने की मांग 123.9 टन से साल दर साल आधार पर 30 प्रतिशत घट कर 86.6 टन रह गई। इसके पीछे जो कारण बताए गए उनमें कोरोनोवायरस महामारी, कमजोर कंज्यूमर सेंटिमेंट और सोने की उच्च कीमते हैं। सोने की माँग पिछले वर्ष के समान समय से बहुत कम है, लेकिन पहली तिमाही के बाद से इसमें सुधार हुआ है जब देश में लॉकडाउन लगा हुआ था। पहली तिमाही में सोने की मांग 64 टन थी, जो कि पिछले साल के इसी समय के मुकाबले 70 प्रतिशत की गिरावट थी।

अमेरिकी चुनाव भी बड़ी वजह

अमेरिकी चुनाव भी बड़ी वजह

आम तौर पर होता ये है कि शेयर बाजारों में संकट के समय निवेशकों का रुख सोने की तरफ मुड़ जाता है। इस समय कोरोनावायरस और अमेरिका के राष्ट्रपति चुनावों के कारण शेयर बाजारों में अनिश्चितता बनी हुई है। हालांकि गोल्ड के हाई रेट, अर्थव्यवस्था में चल रही सुस्ती और अमेरिका में चुनावों के चलते लोग सोना कम खरीद रहे हैं। स्थिति ये हो गई है कि सोने की मांग 2009 के बाद समय कम रह गई।

अगस्त में रिकॉर्ड स्तर पर पहुंची कीमतें

अगस्त में रिकॉर्ड स्तर पर पहुंची कीमतें

अमेरिकी डॉलर की सोने की कीमत अगस्त की शुरुआत में 2,067.15 डॉलर प्रति औंस के रिकॉर्ड उच्च स्तर पर पहुंच गई। इसके बाद इनमें गिरावट आई और तिमाही का रेट 1,900 डॉलर प्रति औंस पर के करीब रहा। कई अन्य मुद्राओं में भी सोने की रिकॉर्ड ऊंची कीमतें देखी गईं थीं, जिनमें रुपया, युआन, यूरो और स्टर्लिंग शामिल हैं।

Gold : दुनिया भर में सरकारों ने खूब बेचा सोना, जानिए क्या हो रहाGold : दुनिया भर में सरकारों ने खूब बेचा सोना, जानिए क्या हो रहा

English summary

Gold demand fell down worldwide including india know why demand is falling

Gold demand has decreased worldwide. The World Gold Council (WGC) report states that gold demand at the global level declined by 19 per cent to 892 tonnes in the July-September quarter of 2020.
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