कोर सेक्टर में जनवरी महीने में हुई 2.2 फीसद की वृद्धि
लगातार दूसरे महीने कोर सेक्टर ग्रोथ में तेजी आई है। दिसंबर के बाद जनवरी 2020 में कोर सेक्टर की ग्रोथ बढ़कर 2.2 फीसदी हो गई है।
नई दिल्ली: लगातार दूसरे महीने कोर सेक्टर ग्रोथ में तेजी आई है। दिसंबर के बाद जनवरी 2020 में कोर सेक्टर की ग्रोथ बढ़कर 2.2 फीसदी हो गई है। जबिक इससे पहले दिसंबर 2019 में कोर सेक्टर की ग्रोथ 2.1 फीसदी रही थी। जानकारी दें कि आठ बुनियादी सेक्टर्स में कोयला, कच्चा तेल, नेचुरल गैस, रिफाइनरी उत्पाद, फर्टिलाइजर्स, स्टील, सीमेंट तथा इलेक्ट्रिसिटी शामिल हैं। वहीं सरल शब्दों में कहें तो कोयला, कच्चा तेल, फर्टिलाइजर्स, स्टील, पेट्रो रिफाइनिंग, बिजली और नेचुरल गैस इंडस्ट्री को किसी अर्थव्यवस्था की बुनियाद माना जाता है। मालूम हो कि यहीं आठ सेक्टर कोर सेक्टर कहे जाते हैं।
सरकार हर महीने जारी करती कोर सेक्टर ग्रोथ के आंकड़े
मालूम हो कि इनकी ग्रोथ दर में कमी या बढ़ोतरी बताती है कि किसी देश की अर्थव्यवस्था की बुनियादी हालत क्या है। सरकार हर महीने कोर सेक्टर ग्रोथ के आंकड़े जारी करती है। यह आंकड़े इन आठों सेक्टर्स में उत्पादन की तस्वीर सामने रखते हैं। वहीं औद्योगिक उत्पादन को मापने के बेंचमार्क आईआईपी में कोर सेक्टर की 38 फीसदी हिस्सेदारी है।
कोर सेक्टर में 2.2 फीसद की वृद्धि
बता दें कि नवंबर 2019 में कोर सेक्टर में 0.6 फीसदी गिरावट रही थी। वहीं, इससे पहले अक्टूबर महीने में 5.8 फीसदी, सितंबर में 5.1 फीसदी और अगस्त में 0.2 फीसदी गिरावट रही थी। चालू कारोबारी साल के पहले नौ महीने (अप्रैल-दिसंबर 2019) में कोर सेक्टर की औसत विकास दर 0.2 फीसदी रही। वहीं, अब नए साल यानी जनवरी में यह 2.1 फीसदी से बढ़कर 2.2 फीसदी हो गई है। जानकारी दें कि एक्सपर्ट्स का कहना है कि क्रूड कीमतों में आई गिरावट का फायदा घरेलू इंडस्ट्री को मिला है। इसके साथ ही, कोयला, रिफाइनरी और इलेक्ट्रिसिटी सेक्टर में भी ग्रोथ लौट आई है।
मिली जानकारी के मुताबिक इन आंकड़ों का असर सोमवार को शेयर बाजार पर दिखेगा यानी तेजी आने की उम्मीद है। वहीं, उनका मानना है कि इन आंकड़ों के बेहतर होने का संकेत अर्थव्यवस्था के लिए फायदेमंद है। आने वाले समय में इसका सकारात्मक असर देश की आर्थिक विकास दर पर भी दिखेगा।
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