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Big News : जुलाई-सितंबर तिमाही में 6.3 फीसदी रही GDP ग्रोथ, देखें बाकी डेटा

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GDP Growth Rate : जुलाई से सितंबर तिमाही में भारतीय अर्थव्यवस्था में 6.3 फीसदी की वृद्धि हुई है, जो पिछली तिमाही में 13.5 फीसदी की दमदार वृद्धि से काफी कम है। इस बात का खुलासा बुधवार को आधिकारिक आंकड़ों में हुआ है। वहीं पिछले साल जुलाई-सितंबर तिमाही में जीडीपी ग्रोथ रेट 8.4 फीसदी रही थी। सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय के तहत आने वाले राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) ने चालू वित्त वर्ष की जुलाई-सितंबर अवधि के तिमाही अनुमानों पर डेटा जारी किया। एक सर्वे में वित्त वर्ष 2022-23 की दूसरी तिमाही के लिए भारत की विकास दर के लिए अर्थशास्त्रियों ने 6.2 फीसदी से ऊपर रहने का अनुमान लगाया था। भारतीय रिजर्व बैंक ने अपनी पिछली मोनेट्री पॉलिसी की बैठक में अर्थव्यवस्था की 6.3 प्रतिशत वृद्धि दर रहने का अनुमान लगाया था।

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कैपिटल एक्सपेंडीचर में बढ़ोतरी

कैपिटल एक्सपेंडीचर में बढ़ोतरी

केंद्र सरकार के पूंजीगत व्यय यानी कैपिटल एक्सपेंडीचर में 40 फीसदी से अधिक की वृद्धि हुई, क्योंकि केंद्र सरकार ने सड़कों से लेकर रेलवे तक के इंफ्रास्ट्रक्चर पर खर्च बढ़ाया है। प्रमुख क्षेत्रों में, कृषि उत्पादन में 4.6 फीसदी की वृद्धि हुई। वहीं मैन्युफैक्चरिंग में 4.3 फीसदी की गिरावट आई और रोजगार पैदा करने वाले कंस्ट्रक्शन सेक्टर में 6.6 फीसदी की वार्षिक वृद्धि दर्ज की गई।

चेक करें नॉमिनल जीडीपी के आंकड़े
वित्त वर्ष 2022-23 की दूसरी तिमाही में नॉमिनल जीडीपी या मौजूदा प्राइस पर जीडीपी 65.31 लाख करोड़ रु अनुमानित है, जबकि वित्त वर्ष 2021-22 की समान तिमाही में यह 56.20 लाख करोड़ रु थी। इसमें 2021-22 की दूसरी तिमाही में 19.0 फीसदी की तुलना में 16.2 फीसदी की वृद्धि दिख रही है। जानकारों का कहना है कि सेवा क्षेत्र में घरेलू विकास चालक मजबूत बने हुए हैं, पर कड़ी फाइनेंशियल स्थितियों के बीच कमजोर वैश्विक मांग निकट अवधि में भारत के लिए ग्रोथ आउटलुक के लिए प्रमुख जोखिम बनी हुई है।

कितना रहा फिस्कल डेफिसिट
 

कितना रहा फिस्कल डेफिसिट

लेखा महानियंत्रक (सीजीए) द्वारा बुधवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, अक्टूबर के अंत में सरकार का राजकोषीय घाटा पूरे साल के बजट अनुमान का 45.6 प्रतिशत तक पहुंच गया। एक्चुअल टर्म्स पर राजकोषीय घाटा - व्यय और राजस्व के बीच का अंतर - 2022-23 की अप्रैल-अक्टूबर अवधि के दौरान 7,58,137 करोड़ रुपये था। पिछले साल इसी अवधि में घाटा 2021-22 के बजट अनुमान का 36.3 फीसदी था। 2022-23 के लिए, सरकार का राजकोषीय घाटा 16.61 लाख करोड़ रुपये या जीडीपी का 6.4 प्रतिशत रहने का अनुमान है।

कोर सेक्टर आउटपुट ग्रोथ

कोर सेक्टर आउटपुट ग्रोथ

बुधवार को ही कोर सेक्टर आउटपुट ग्रोथ के आंकड़े जारी किए गए। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, आठ प्रमुख क्षेत्रों के उत्पादन में वृद्धि दर अक्टूबर में घट कर 0.1 प्रतिशत रह गई, जो पिछले साल इसी महीने में 8.7 प्रतिशत थी। सितंबर में कोर सेक्टर्स की आउटपुट ग्रोथ 7.8 फीसदी रही थी। आठ इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टरों में कोयला, कच्चा तेल, प्राकृतिक गैस, रिफाइनरी उत्पाद, उर्वरक, इस्पात, सीमेंट और बिजली शामिल हैँ। इनकी उत्पादन वृद्धि चालू वित्त वर्ष में अप्रैल-अक्टूबर के दौरान 8.2 प्रतिशत रही, जबकि एक साल पहले यह 15.6 प्रतिशत थी। अक्टूबर में कच्चे तेल, प्राकृतिक गैस, रिफाइनरी उत्पादों और सीमेंट उत्पादन में नकारात्मक वृद्धि दर दर्ज की गई।

English summary

Big News GDP growth was 6 point 3 percent in the July September quarter see full data

The GDP growth rate in the July-September quarter last year was 8.4 per cent.
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