सरकार गोल्ड ज्वेलरी के लिए हॉलमार्किंग को कर रही अनिवार्य
शादी का सीजन शुरु होने वाला हैं और ऐसे में ज्वेलरी की खरीदारी आवश्यक है। जिसके लिए आपने अभी से ही प्लान करान शुरु कर दिया होगा।
शादी का सीजन शुरु होने वाला हैं और ऐसे में ज्वेलरी की खरीदारी आवश्यक है। जिसके लिए आपने अभी से ही प्लान करान शुरु कर दिया होगा। परंतु इसके लिए आपको थोड़ा इंतजार करना पड़ेगा। जी हां केंद्र सरकार देश में गोल्ड ज्वैलरी बेचने के लिए हॉलमार्किंग को जल्द अनिवार्य बनाने की तैयारी कर रही है।
खाद्य एवं उपभोक्त्ता मंत्री राम विलास पासवान ने गुरुवार को इस बात की जानकारी दी है। अभी सोने की हालमार्किंग वॉलेंटरी यानि ऐच्छिक है। हॉलमार्किंग सोने की शुद्धता का प्रमाण- पत्र है। उपभोक्त्ता मामलों के मंत्रालय के अंतर्गत कार्यरत भारतीय मानक ब्यूरो बीआईसी हॉलमार्किंग के लिए अधिकृत अथॉरिटी है।
गोल्ड ज्वैलरी हॉलमार्किेंग के लिए तीन ग्रेड
मौके पर मौजूद कार्यक्रम में पासवान का कहना हैं कि बीआईएस ने गोल्ड ज्वैलरी हॉलमार्किेंग के लिए तीन ग्रेड 14 कैरट, 18 कैरट और 22 कैरट मानक तय किये है। जल्द ही इसे अनिवार्य बनाने जा रहे है। हालांकि, पाववान ने गोल्ड हॉलमार्किंग लागू करने की कोई निश्चित समय सीमा नहीं बताई है, लेकिन उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि उपभोक्ताओं के हितों के देखते हुए मानक तय करना जरूरी है।
हॉलमार्किंग सेंटर तमिलनाडु में सबसे ज्यादा
भारत में 220 बीआईसी अधिकृत हॉलमार्किंग सेंटर हैं। इनमें से सबसे ज्यादा तमिलनाडु में हैं। इसके बाद केरल में इनकी संख्या सर्वाधिक है। पासवान ने कहा कि चौथी औद्योगिक क्रांति स्मार्ट टेक्नोलॉजी के जरिए होगी। ऐसे में बीआईएस के पास मानक तय करने की दिशा में काम तेज करने की चुनौती है, जिससे कि यह सुनिश्चित हो सके कि इस क्षेत्र में देश पीछे न रह जाए।
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस जैसी टेक्नोलॉजी पर जोर देनी की जरुरत
बता दें कि पासवान ने बीआईसी की वेबसाइट को नए क्लेवर में लॉन्च किया। इसके साथ ही उन्होंने स्मार्ट मैन्युफैक्चरिंग पर प्री स्टैंडराइजेशन रिपोर्ट जारी की उपभोक्ता मामलों के राज्य मंत्री सीआर चौधरी ने भी इस बात पर जोर दिया कि स्मार्ट तकनीक मानक तय करने के लिए जरूरी है। इंडस्ट्री को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस जैसी टेक्नोलॉजी पर जोर देने की जरूरत है।