अब माता-पिता को प्रताड़ित किया तो लौटानी होगी संपत्ति
आए दिन ऐसी खबरें सुनने को मिलती है कि माता-पिता की संपत्ति के लिए बच्चे या तो उन्हें बेसहारा अनाथ आश्रम में छोड़ आते हैं या फिर उनकी हत्या तक कर देते हैं इन्हीं सब घटनाओं को देखते हुए केंद्र सरकार एक नया फैसला लेने जा रही है। जो लोग अपने बूढ़े माता-पिता को प्रताडि़त करते हैं वो जरा संभल जाएं, क्योंकि केंद्र सरकार अब उन पर एक्शन लेने की तैयारी में हैं।
ऐसे मामले में सिर्फ एक शिकायत पर बच्चों को संपत्ति अपने माता-पिता को वापस लौटानी होगी। ऐसा इसलिए होगा क्योंकि समाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय इसके लिए माता-पिता एवं वरिष्ठ नागरिक देखभाल एवं कल्याण अधिनियम 2007 में संशोधन करने जा रहा है।
जल्द ही कैबिनेट में रखा जाएगा यह विचार
माता-पिता को परेशान कर संपत्ति अपने नाम कर लेने के बाद उन्हें बेसहारा छोड़ने वाले बच्चों पर केंद्र सरकार सख्ती करने जा रही है। ऐसे मामलों को रोकने के लिए केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री थावर चंद गहलोत ने अधिकारियों को अधिनियम में बदलाव करने के निर्देश दिए थे। मंत्रालय की ओर से मिली जानकारी के अनुसार इस अधिनियम में संशोधन को अंतिम रुप दिया जा चुका है। जल्द ही इसे कैबिनेट में रखा जाएगा। यहां पर मंजूरी मिलने के बाद इसे राज्यों को भेज दिया जाएगा।
लगभग 1 करोड़ माता-पिता के साथ होती हैं ऐसी घटनाएं
माता-पिता को जीवनयापन के लिए बच्चों की ओर से हर महीने दी जाने वाली वित्तीय मदद की सीमा जो कि 10 हजार रुपए थी उसे भी हटाया जाएगा। प्राइवेट संगठन हैल्पएज ने 2014 में जारी रिर्पोट में यह खुलासा किया था कि भारत में 10 करोड़ से अधिक बूढ़े लोग रहते हैं। इनमें से करीब 1 करोड़ लोगों को उनके ही बच्चों ने संपत्ति विवाद के चलते घर से बाहर निकाल दिया है।
माता-पिता यहां पर कर सकेंगे शिकायत
आपको बता दें कि राज्यों में मैंटीनेंस ट्रिब्यूनल या अपीलेट ट्रिब्यूनल में पीडि़त माता-पिता इसकी शिकायत कर सकेंगे। इन ट्रिब्यूनल के पास सिविल कोर्ट के अधिकार हैं। एक रिर्पोट के अनुसार 53.2 प्रतिशत ऐसे मामले हैं जिसमें मां-बाप से दुर्व्यवहार का कारण सिर्फ संपत्ति है।