अब ट्रेन की लोअर बर्थ को बुक करना पड़ सकता है महंगा
अगर आप रेलवे की यात्रा करते हैं तो यह खबर आपको जरुर पढ़ना चाहिए। अब प्रीमियम ट्रेनों में फ्लेक्सी किराया प्रणाली की समीक्षा के लिए गठित समिति ने सुझाव दिया है कि रेलवे को एयरलाइंस और होटलों की तरह डायनामिक मूल्य मॉडल अपनाना चाहिए। रेलवे कमिटी का मानना है कि जिस तरह से विमान में यात्रियों को आगे की लाइन की सीटों के लिए अधिक भुगतान करना पड़ता है ठीक उसी तरह ट्रेनों में भी यात्रियों से उनकी पसंद की बर्थ के लिए अधिक किराया वसूला जाना चाहिए।
रिर्पोट के अनुसार सुविधाजनक टाइम-टेबल बनाया जाए और विशेष मार्ग पर लोकप्रिय ट्रेनों का किराया बढ़ाया जा सकता है। समिति ने यह भी सुझाव दिया है कि एक बार किराया बढ़ाए जाने की बजाय रेलवे को त्योहारी सीजन के दौरान किराया बढ़ाना चाहिए। कम व्यस्त महीनों में किराए में कमी करनी चाहिए। इसके अलावा असुविधाजनक समय पर अपने गंतव्य पहुंचने वाली ट्रेनों के यात्रियों को रियायत दी जानी चाहिए।
हालांकि, रात 12 बजे से सुबह 4 बजे और दोपहर को 1 बजे से शाम 5 बजे तक पहुंचने वाली ट्रेनों के यात्रियों को किराए में रियायत दी जा सकती है।
क्या है फ्लेक्सी किराया प्रणाली
इस प्रणाली में प्रीमियम ट्रेनों में किराया 25 प्रतिशत तक बढ़ जाता है जिसका विभिन्न विभागों में विरोध हो रहा है। फ्लेक्सी किराया प्रणाली में आधार किराया प्रत्येक 10 प्रतिशत सीटों की बुकिंग के बाद 10 प्रतिशत तक बढ़ जाता है। यह बढ़ोत्तरी 50 प्रतिशत तक होती है।