₹615 करोड़ की रो-रो फेरी सेवा के बारे में जानिए सब-कुछ
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को गुजरात में फेरी सेवा रो-रो की शुरुआत की। ये सेवा दक्षिण एशिया की सबसे अनूठी सेवाओं में से एक है। इस योजना के जरिए भावनगर से भरूच की दूरी 310 किलोमीटर से घट कर सिर्फ 31 किलोमीटर रह जाएगी।
Ghogha-Dahej Ferry Service will boost connectivity and infrastructure in Gujarat. pic.twitter.com/Hed5BoaT9V
— Narendra Modi (@narendramodi) October 21, 2017
पीएम मोदी ने इससे जुडा एक वीडियो भी पोस्ट किया है जिससे लोगों को इस सेवा को अच्छी तरह से समझने में आसानी होगी। पीएम मोदी ने सौराष्ट्र के भावनगर जिले में स्थित घोघा बंदरगाह से रोल ऑन-रोल ऑफ सेवा के जरिए भरुच जिले तक करीब एक घंटे में पहुंचा जा सकेगा।
इससे गुजरात के औद्योगिक क्षेत्रों के बीच कनेक्टिविटी मजबूत होगी। समुद्री रास्ते की बात करें तो भावनगर का घोघा दूसरी तरफ स्थित भरुच के दाहेज से करीब 31 किलोमीटर की दूरी पर है। सड़क मार्ग से यह सफर 360 किलोमीटर का था, जिसे तय करने में 8 से 9 घंटे तक लगते थे। यह भारत में अपनी तरह की पहली सेवा है। इससे एक जहाज यानी फेरी पर 100 वाहन (कार, बस और ट्रक) और 250 यात्री सफर कर सकेंगे। आमतौर पर समुद्र में लंबे सफर पर जाने वाले जहाजों के लिए रो-रो टर्म का इस्तेमाल किया जाता रहा है।
इस फेरी सेवा पर 614 करोड़ रुपये खर्च हुए हैं। घोघा और दाहेज बंदरगाहों को इसके लिहाज से तैयार करने के लिए केंद्र सरकार से 117 करोड़ रुपये सागरमाला परियोजना के तहत आवंटित किए गए थे। गुजरात सरकार के मरीन एवं पोर्ट अफेयर्स के पास इसकी जिम्मेदारी है, जिसने 2011 में इसके टेंडर निकाले थे।