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चीन कर्ज देकर करता है कब्जा, पाकिस्तान-श्रीलंका हैं ताजा उदाहरण

पूर्व में जहां चीन ने तिब्बत और ताइवान पर सैन्य ताकत दिखाकर कब्जा किया वहीं अब उसने अपनी रणनीति बदल दी है।

By Ashutosh
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कर्ज देने के मामले में चीन जितना उदार दिखता है उतना है नहीं। चीन छोटे और विकासशील देशों को भारी भरकम कर्ज देता है और बदले में उनकी जमीन पर कब्जा कर लेता है। चीन के इस जाल का ताजा शिकार श्री लंका है। चीन पिछले कुछ सालों से श्री लंका में को लगातार कर्ज दे रहा है और अब श्री लंका कि ये हालत हो गई है कि वह चीन का कर्ज चुका नहीं पा रहा है। ऐसे में उसने अपने हंबनटोटा पोर्ट को चीन की एक कंपनी को 99 साल के लिए लीज पर दे दिया है। श्री लंका और चीन के बीच ये सौदा 1.1 अरब डॉलर यानि कि करीब 72 अरब रुपए का है। चीन की ये कंपनी हंबनटोटा के 15 हजार एकड़ में एक इंडस्ट्रियल जोन तैयार करेगी।

 

चीन ने बदली अपनी रणनीति

चीन ने बदली अपनी रणनीति

चीन इस दिशा में धीरे-धीरे आगे बढ़ रहा है। पूर्व में जहां चीन ने तिब्बत और ताइवान पर सैन्य ताकत दिखाकर कब्जा किया वहीं अब उसने अपनी रणनीति बदल दी है। बदले हुए वक्त में छोटे देशों की भी सुनी जा रही है और उनपर होने वाले अन्यायों पर जरूरी कार्रवाई भी हो रही है। एशिया और दुनिया में अपनी धमक बढ़ाने के लिए चीन ने OROB यानि कि वन बेल्ट वन रोड का प्रोग्राम शुरु किया जिसमें उसने छोटे देशों के जरिए यूरोप तक पहुंच बनाने की योजना रखी है। इस प्रोग्राम में चीन निवेश का सबसे बड़ा भागीदार बनना चाहता है।

कर्ज के नाम पर कब्जे की स्कीम
 

कर्ज के नाम पर कब्जे की स्कीम

चीन का ऐसा ही एक प्रोजेक्ट CPEC भी है जिसे चीन पाकिस्तान इकोनॉमिक कॉरिडोर का नाम दिया गया है। ये परियोजना चीन के काशगर को पाकिस्तान के ग्वादर बलूचिस्तान तक जोड़ने की है। इस परियोजना में पाक अधिकृत कश्मीर में भी चीन की कंपनी निर्माण काम कर रही है। हालांकि चीन को बलूचिस्तान में निर्माण कार्य में काफी परेशानी हो रही है क्योंकि वहां लोग चीन को अपने इलाके की खनिज संपदा का दोहन करने से रोकना चाहते हैं।

श्री लंका जैसा होगा पाकिस्तान का हाल!

श्री लंका जैसा होगा पाकिस्तान का हाल!

CPEC एक ऐसा प्रोजेक्ट है जिससे पाकिस्तान बहुत खुश है लेकिन उसे दूर के परिणामों का अभी अंदाजा नहीं लग रहा है। श्री लंका से पोर्ट को 99 साल की लीज पर लेना एक कर है वैध कब्जा ही है जिसे चीन ने अंजाम दे दिया है। श्री लंका के पास इकने पैसे नहीं थे कि वह चीन का कर्ज चुका सके और अब मजबूरन उसे अपना पोर्ट गिरवी रखना पड़ा। चीन ने श्री लंका को 8 बिलियन डॉलर का कर्ज दिया था और साथ ही 6.3 फीसदी का इंट्रेस्ट रेट रखा था। इतने ज्यादा इंस्ट्रेस्ट रेट के कारण श्री लंका कर्ज में डूबता चला गया और अब वह अपने एक हिस्से को चीन को लगभग बेच ही चुका है। पाकिस्तान को श्री लंका से सबक लेना चाहिए और चीन के इरादों को समझना चाहिए। श्रीलंका में चीन ने महज 8 बिलियन डॉलर का निवेश किया था जबकि पाकिस्तान में चीन अब तक 50 अरब डॉलर का निवेश कर चुका है। कहीं ऐसा ना हो कि पाकिस्तान कर्ज ना चुका पाने की स्थिति में चीन का आर्थिक गुलाम बन कर रह जाए।

कर्ज देने के मामले में उदार है भारत

कर्ज देने के मामले में उदार है भारत

अन्य देशों की बात करें भारत अपने पड़ोसी देशों को 1 फीसदी ब्याज दर पर कर्ज देता है। वहीं विश्व बैंक 0.25 फीसदी की दर से कर्ज देता है जबकि एडीबी यानि कि एशियन डेवलपमेंट बैंक 3 फीसदी तक ब्याज दर पर कर्ज देता है। इनके मुकाबले चीन के कर्ज की ब्याज दर बहुत ज्यादा है जो कि किसी भी देश की अर्थव्यवस्था चौपट करने के लिए काफी है।

निवेश के पीछे का छिपा एजेंडा

निवेश के पीछे का छिपा एजेंडा

छोटे देशों को आधारभूत संरचना के नाम पर चीन भारी भरकम कर्ज देता है और बदले में वह कब्जे की चाल चलता है। श्री लंका में भी चीन ने कुछ ऐसा ही किया है। वहीं अगर भारत की बात करें तो भारत ने अफगानिस्तान और अफ्रीकी महाद्वीप में छोटे देशों के विकास में बहुत योगदान दिया है लेकिन ऐसे देशों पर भारत कभी कब्जा करने की नीयत से निवेश नहीं करता है।

चीन है नए दौर का साहूकार!

चीन है नए दौर का साहूकार!

हिंदी फिल्मों में हमने कई बार देखा है कि एक साहूकार से लिया धन चुकाने में ही गरीब की जिंदगी खत्म हो जाती थी फिर भी वह सिर्फ साहुकार का ब्याज ही चुका पाता था। चीन भी आधुनिक युग का साहुकार है जो अपने ब्याज से छोटे विकासशील देशों को अपना गुलाम बना लेता है। OROB चीन की इसी परियोजना का एक हिस्सा है। इससे चीन छोटे देशों पर कब्जा करने के अपने मकसद में आसानी से कामयाब हो सकता है।

पाकिस्तान का भी श्री लंका जैसा हाल

पाकिस्तान का भी श्री लंका जैसा हाल

हालांकि श्री लंका के साथ हुई हंबनटोटा पोर्ट की डील ने चीन की कलई खोल दी है और परियोजनाओं और निवेश के नाम पर कब्जा करने की उसकी नीति को दुनिया के सामने ला कर रख दिया है। चीन से वैसे भी दुनिया के तमाम देश परेशान हैं पर पाकिस्तान को चीन से लगाव कुछ ज्यादा ही है, अभी भी वक्त है कि पाकिस्तान भावना में ना बहे और चीन की छुपी मंशा को समझे ताकि आने वाले वक्त में उसे चीन की गुलामी ना करनी पड़े।

English summary

China Take Loan Then Grab Land Strategy Now Busted

China Take Loan Then Grab Land Strategy Now Busted, Pakistan Should Learn A Lesson Form Sri Lanka
Story first published: Sunday, July 30, 2017, 13:12 [IST]
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