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स्‍वास्‍थ्‍य बीमा कराने से पहले किन बातों को ध्‍यान में रखना चाहिए?

By Pratima
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हर कोई अपनी और अपनी फैमिली की देखभाल और सुरक्षा चाहता है। इसके लिए वो स्‍वास्‍थ्‍य बीमा लेते हैं। लेकिन आप अगर पहली बार हेल्‍थ इंश्‍योरेंस करवा रहे हैं तो आपके लिए यह तय करना मुश्किल हो जाता है कि आप कौन सा हेल्‍थ इंश्‍योरेंस लें और कौन सा नहीं लें। कुछ लोग तो बिना सोचे समझे ही कोई भी हेल्‍थ इंश्‍योरेंस ले लेते हैं बिना यह जाने ही क्‍या इससे उतना फायदा होगा जितना की वो चाहते हैं। यहां पर हम आपको हेल्‍थ इंश्‍यारेंस से जुड़ी ऐसे कुछ प्‍वाइंट बतायेंगे जो कि हेल्‍थ इंश्‍योरेंस पॉलिसी को चुनने में आपकी मदद करेगी।

पॉलिसी की करें तुलना

पॉलिसी की करें तुलना

किसी भी हेल्‍थ इंश्‍योरेंस पॉलिसी को लेने से पहले अन्‍य दूसरी हेल्‍थ इंश्‍योरेंस पॉलिसी के बारे में भी पता कर लें और उनकी आपस में तुलना भी कर लें। इसके लिए आप इससे संबंधित वेबसाइट पर जाकर पता कर सकते हैं। साथ ही यह भी पता करें कि सबसे ज्‍यादा प्रीमियम कौन दे रहा है।

क्‍लेम के क्‍लॉज को भी जानें

क्‍लेम के क्‍लॉज को भी जानें

पॉलिसी लेते वक्‍त ज्‍यादातर हम प्रीमियम अमाउंट ही देखते हैं हमारा ध्‍यान दूसरी चीजों की तरफ जाता ही नहीं है। लेकिन आपको उस पॉलिसी को क्‍लेम करने पर कितना क्‍लॉज मिलेगा इसकी जानकारी होनी चाहिए। कई पॉलिसी में कंपनी पूरे भुगतान में कटौती का क्‍लाज डाल देती हैं। इसलिए आप पॉलिसी देने वाले एजेंट से इस बारे में अच्‍छे से जानकारी लें।

ऑर्गन ट्रांसप्‍लांट में डोनर का कवरेज भी हो शामिल

ऑर्गन ट्रांसप्‍लांट में डोनर का कवरेज भी हो शामिल

ज्‍यादातर हेल्‍थ इंश्‍योरेंस कंपनियां उन्‍हीं का कवरेज देती हैं जिनके नाम से ये पॉलिसी हैं। लेकिन जब हम ऑर्गन ट्रांसप्‍लांट करवाते हैं तो हमें डोनर को भी पैसे देने होते हैं। इसलिए इंश्‍योरेंस कंपनी से ऑर्गन ट्रांसप्‍लांट के कवरेज की भी बात करें।

कैशलेस अस्‍पतालों को प्राथमिकता दें

कैशलेस अस्‍पतालों को प्राथमिकता दें

अपनी इंश्‍योरेंस कंपनी से यह पता करें कि क्‍या वो कैशलेस पेमेंट वाले अस्‍पतालों में भी इलाज करवा सकते हैं या नहीं। उनकी लिस्‍ट आप अच्‍छे से चेक कर लें कि आखिर ऐसे अस्‍पताल उनके इंश्‍योरेंस पॉलिसी में आते हैं या नहीं। ऐसा इसलिए क्‍योंकि ऐसे बहुत सारे हॉस्पिटल हैं जहां पर इलाज के तुरंत बाद कैश के माध्‍यम से ही भुगतान करना होता है।

घर पर हुए इलाज पर भी मिले कवरेज

घर पर हुए इलाज पर भी मिले कवरेज

कई बीमारियां ऐसी होती हैं जिनका इलाज घर पर भी संभव होता है इसलिए उसमें भी हेल्‍थ इंश्‍योरेंस का कवरेज शामिल हो। ऐसा आप पॉलिसी लेने से पहले पढ़ लें और जांच लें क्‍योंकि कुछ इंश्‍योरेंस कंपनियां सिर्फ अस्‍पतालों के बिल पर ही कवरेज देती हैं।

फैमिली मेंबर को भी मिला पूरा कवरेज

फैमिली मेंबर को भी मिला पूरा कवरेज

कुछ इंश्‍योरेंस कंपनियां जो इंश्‍योरेंस करवाता है उसे तो 100 प्रतिशत का कवरेज प्रदान करती है लेकिन घर के बांकी सदस्‍य जैसे पत्‍नी, माता-पिता और बच्‍चों में 50 से 25 प्रतिशत तक का ही कवरेज मिलता है। इसलिए ऐसी कंपनियों की पॉलिसी लेने से बचें।

लीव विथआउट पे का भी हो भुगतान

लीव विथआउट पे का भी हो भुगतान

जब आप बीमार होते हैं तो ऑफिस से भी आपको छुट्टी लेनी पढ़ जाती है। ऐसे में ऑफिस में आपकी सैलरी कटना शुरू हो जाती है तो घर के खर्चों को संभाल पाना थोड़ा मुश्किल हो जाता है। बहुत सी ऐसी इंश्‍योरेंस कंपनियां हैं जो कि पर डे के हिसाब से पैसों का भुगतान करती हैं तो अगर ऐसी कवरेज वाली पॉलिसी आपको मिल जाए तो यह सोने पर सुहागा होगा।

English summary

Do You Know Which Things You Should Keep In Mind Taking Before Health Insurance?

Taking health insurance policy just read this article.
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