भारतीय रिजर्व बैंक ने विदेशों से कर्ज जुटाने के नियम को आसान किया
लगातार कुछ महीनों से डॉलर के मुकाबले रुपये में गिरावट जारी हैं। इसी को देखते हुए भारतीय रिजर्व बैंक ने विदेशों से कर्ज जुटाने के नियम आसान किये है।
लगातार कुछ महीनों से डॉलर के मुकाबले रुपये में गिरावट जारी हैं। इसी को देखते हुए भारतीय रिजर्व बैंक ने विदेशों से कर्ज जुटाने के नियम आसान किये है। इसके साथ ही उसने मसाला बॉन्ड्स के विपणन को भी मंजूरी दी है।
भारतीय रिजर्व बैंक ने बुधवार को एक अधिसूचना जारी की है। इसमें बताया गया हैं कि मैन्युफक्चरिंग सेक्टर में अधिकृत एक्सटर्नल कमिर्शियल बोरोविंग्स के नियम आसान कर दिए गए है। अब 5 करोड़ और इसके समानांतर ईसीबी एक साल की न्यूनतम औसत मैच्योरिटी पीरिएड के साथ ले सकेंगे।
हांलाकि बता दें कि पहले इन ईसीबी के लिए न्यूनतम औसत मैच्योरिटी अवधि 5 साल की थी। भारतीय रिजर्व बैंक की तरफ से उठाया गया यह कदम पहल का हिस्सा है। जो कि रुपये को संभालने के लिए की जा रही है। बता दें कि पिछले हफ्ते प्रधानमंत्री की अध्यक्षमता में ली गयी इकोनॉमिक रिव्यू मीटिंग में रुपये को संभालने के लिए ये फैसला लिए गए थे।
भारतीय रिजर्व बैंक ने अपनी अधिसूचना में कहा कि सरकार के साथ विचार-विमर्श किया गया है। इस विचार-विमर्श के बाद ही बाह्य वाणिज्यिक कर्ज नीति के कई पहलुओं को आसान बनाया गया है। इसमें रुपये में विदेशों में जारी किए जाने वाले मसाला बॉन्ड भी शामिल हैं।
बता दें कि पिछले महीने से लगातार रुपये में गिरावट का सिलसिला लगातार जारी है। रुपया डॉलर के मुकाबले फिलहाल 72 के पार बना हुआ है।