IRCTC: अन्य पोर्टल से रेल टिकट बुक करना अब पड़ेगा महंगा
रेलवे में आय दिन नई तरह की शुरुआत की जा रही है। इस दौरान नयी योजना के तहत यह पता चला है कि अब मेक माय ट्रििप, यात्रा, पेटीएम और क्लियर ट्रिप जैसे पोर्टल्स और एप्पस से रेल टिकट कराना मंहगा हो सकत
रेलवे में आय दिन नई तरह की शुरुआत की जा रही है। इस दौरान नयी योजना के तहत यह पता चला है कि अब मेक माय ट्रिप, यात्रा, पेटीएम और क्लियर ट्रिप जैसे पोर्टल्स और एप्स से रेल टिकट कराना मंहगा हो सकता है।
प्रति टिकट 12 रुपये का चार्ज
वहीं हम आपको बता दें कि अब आईआरसीटीसी ने अब दूसरे पोर्टल्स के जरिए टिकट की बुकंगि पर अतिरिक्त चार्ज लगाने का फैसला लिया है। आईआरसीटीसी की माने तो उनका कहना है कि अब इन साइट्स से प्रति टिकट 12 रुपये का चार्ज लगाएगा। वही इस पर टैक्स भी अलग से देना होगा। हम आपको बता दें कि आईआरसीटीसी भारतीय रेलवे की सहायक कंपनी है। कंपनी कैटरिंग, टूरजिम और ऑनलाइन टिकटिंग का काम देखती है।
फ्लैट सालाना मेंटनेंस चार्ज
जबकि इससे पहले आईआरसीटीसी की ओर से इन वेबसाइट्स से फ्लैट सालाना मेंटनेंस चार्ज लिया जाता था। आईआरसीटीसी के प्रस्तावित आईपीओ से पहले कंपनी का यह फैसला रेवेन्यू जुटाने के एक नए तरीके पर देखा जा रहा है। हालांकि सर्विस प्रवाइडर्स कंपनियां आईआरसीटीसी के इस फैसले से खुश नहीं है। एक सर्विस प्रवाइडर का कहना है कि रेलवे टिकट बुकिंग रेवेन्यू नेगेटिव या फिर रेवेन्यू न्यूट्रल है। पेमेंट गेटवे पर हमें जो फीस चुकानी पड़ती है, वह कस्टमर से लिए जाने वाले शुल्क से अधिक होता है।
70 एन्क्वॉयरी पर कम से कम एक टिकट बुकिंग
वहीं कंपनियों का कहना है कि फीस में इजाफा करने से उन्हें नुकसान होगा और आईआरसीटीसी की अपनी वेबसाइट के मुकाबले वे गैर- प्रतिस्पर्धी हो जाएंगी। आईआरसीटीसी के कॉन्ट्रैक्ट में 'लुक टू बुक' रेश्यो का जिक्र किया गया है। इसका अर्थ यह है कि 70 एन्क्वॉयरी पर कम से कम एक टिकट बुकिंग होना चाहिए।आईआरसीटीसी ने अपने सिस्टम को सर्विस प्रवाइडर्स के लिए खोलने का फैसला लिया है और अब वे कस्टमर फैसिलिटीज मुहैया करा सकते हैं, जैसे- पीएनआर स्टेटस सर्च और अन्य पूछताछ सेवाएं।
आईआरसीटीसी के कॉन्ट्रैक्ट रूल्स
वहीं हम आपको यह भी बता दे कि आईआरसीटीसी के कॉन्ट्रैक्ट रूल्स के मुताबिक यदि 70 एन्क्वॉयरी पर एक टिकट की बुकिंग नहीं होती है तो फिर हर एन्क्वॉयरी पर 25 पैसे चुकाने होंगे। सर्विस प्रवाइडर ने कहना है, 'एयरलाइंस के साथ आईआरसीटीसी का करार अलग है। एयरलाइंस को टिकट की बुकिंग पर आईआरसीटीसी से उल्टे कमिशन मिलता है। दूसरी तरफ टिकटों की सेल पर रेलवे हमसे चार्ज की वसूली करता है।'