शाहरुख खान से सीखिए बिजनेस, इन्वेस्टमेंट और सेविंग्स के टिप्स
बॉलीवुड के बादशाह शाहरुख खान वैसे तो किंग ऑफ रोमांस कहे जाते हैं लेकिन आप उनसे बिजनेस, इन्वेस्टमेंट और सेविंग्स के भी टिप्स सीख सकते हैं।
बॉलीवुड के बादशाह शाहरुख खान वैसे तो किंग ऑफ रोमांस कहे जाते हैं लेकिन आप उनसे बिजनेस, इन्वेस्टमेंट और सेविंग्स के भी टिप्स सीख सकते हैं। शौहरत होती है तो दौलत अपने आप आती है और शाहरुख खान के पास ये दोनों ही हैं। शाहरुख बॉलीवुड की फिल्मों से और विज्ञापन से बड़ी कमाई करते हैं और वैसे ही खर्च भी करते हैं लेकिन वो अपना ज्यादातर पैसे निवेश योजनाओं में लगाते हैं, आइए देखते हैं कि बॉलीवुड के 'रईस' शाहरुख खान का मनी मैनेजमेंट और सीखते हैं उनसे पैसे बनाने के टिप्स
पैसे को अलग-अलग जगह लगाओ
एक सफल एक्टर होने के साथ ही शाहरुख एक बिजनेसमैन भी हैं। फिल्मों के अलावा उन्होने अपना पैसा खेल और शिक्षा के क्षेत्रों में निवेश कर रखा है।
प्रॉडक्शन और डिस्ट्रिब्यूशन कंपनी
उनकी खुद की फिल्म प्रॉडक्शन और डिस्ट्रिब्यूशन कंपनी है, रैड चिली, और साथ ही पोस्ट-प्रॉडक्शन और विज़्युल इफ़ेक्ट्स (वीएफ़एक्स) यूनिट भी है। कोलकाता नाइट राइडर्स की आईपीएल फ्रेंचाईजी में भी उनकी हिस्सेदारी है।
उधार को कहें 'ना'
शाहरुख अपनी फिल्मों के फाइनेंसर नहीं ढूंढते जब कि उन्हें उनके प्रोजेक्ट्स में पैसे लगाने वाले बहुत लोग मिल सकते हैं।
कम पैसे में काम चलाने की आदत
उनका मानना है कि हमें कम पैसे से काम चला लेना चाहिए लेकिन उधारी नहीं करनी चाहिए। वे खुद सीधे शेयर मार्केट में पैसा लगाना पसंद नहीं करते हैं।
अपने जुनून का पीछा करो
शाहरुख खान दो दशक से भी अधिक वक्त से फिल्म इंडस्ट्री में है, तमाम फिल्में और विज्ञापन के जरिए उन्होंने पैसे कमाए, शाहरुख के पास भारत और वेस्टइंडीज में लीग क्रिकेट की टीम है। इसके बावजूद शाहरुख बताते हैं कि उन्हें बिजनेस की ज़्यादा समझ नहीं है। वो केवल अपने जुनून के पीछे भागते हैं बिजनेस अपने आप उनके पीछे आता है।
अपना पैसे अपने जुनून में लगाएं
उनका सपना अपना खुद का फिल्म स्टुडियो खोलने का है जब कि बिजनेस की दृष्टि से यह ज़्यादा फायदेमंद नहीं है, क्यों कि फिल्म स्टुडियो निवेश पर पूरा रिटर्न नहीं देता है। ये बिजनेस नहीं है लेकिन ये उनका जुनून ही है जो उन्हें फिल्म स्टूडियो सेट करने के लिए प्रेरित कर रहा है।
लकीर के फकीर नहीं है SRK
शाहरुख खान कहते हैं कि फिल्म निर्माण एक जोखिम भरा बिजनेस है जिसमें सफलता का कोई फिक्स फोर्मूला नहीं है। वे लगातार फिल्में बनाते हैं क्यों कि वे जानते हैं कि कुछ भी क्लिक कर सकता है। यहाँ अपनी पिछली गलती से सीखने का कोई मतलब नहीं है क्यों कि यह एक अच्छा बिजनेस है जहां कोई नहीं जानता क्या चीज काम करेगी और क्या नहीं।